फील्ड रिसर्च लेबोरेटरी (FRL) की स्थापना 1962 में लेह-लद्दाख में हुई थी, जो पहले प्रधानमंत्री, जवाहरलाल नेहरू के दिमाग की उपज थी। इसका उद्देश्य लद्दाख के ठंडे इलाकों के बीच, हरे-भरे इलाके को ठंडे बस्ते में डालना और लद्दाख सेक्टर में तैनात सैनिकों को ताजा भोजन उपलब्ध कराना था। वर्षों से अपने अग्रणी अनुसंधान एवं विकास प्रयासों के माध्यम से संस्थान ने कृषि, पशुपालन और लद्दाख के वनस्पतियों में गुणात्मक गुणात्मक और मात्रात्मक परिवर्तन लाया है।
समय के साथ, प्रयोगशाला की दृष्टि, मिशन और जनादेश बदल गया है। 27 मई 2008 को फील्ड रिसर्च लेबोरेटरी (FRL) का नाम बदलकर रक्षा अनुसंधान संस्थान (डीआईएचएआर) कर दिया गया है। यह संस्थान एमएसएल से 3,500 मीटर की ऊँचाई पर दुनिया में अपनी तरह का एक प्रकार है, जिसके पास ठंडी शुष्क कृषि में मुख्य क्षमता है -मानसिक तकनीक। संस्थान के रणबीरपुरा, लद्दाख में अपने अनुसंधान स्टेशन हैं; परतापुर, सियाचिन सेक्टर; चंडीगढ़ में बेस लेबोरेटरी और लद्दाख के चांगला में दुनिया का सबसे ऊंचा स्थलीय अनुसंधान एवं विकास केंद्र।