क्वांटम प्रौद्योगिकी क्वांटम यांत्रिकी के नियमों पर आधारित है, और परमाणु व उप-परमाणु स्तर पर काम करती है। इस तकनीक से कंप्यूटिंग, संचार और संवेदन के क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव की उम्मीद की जाती है। सुव्यवस्थित सैद्धांतिक आधार के साथ क्वांटम प्रौद्योगिकी सुरक्षित संचार नेटवर्क, घातीय रूप से तेज़ गणना और अत्यधिक सटीक व संवेदनशील सेंसर के विकास के लिए उपयोग किए जाने को तैयार है। क्वांटम प्रौद्योगिकी की प्रयोज्यता सैन्य और राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए अत्यधिक महत्व रखती है। इसे ध्यान में रखते हुए, डीआरडीओ इस तकनीक के विकास में सबसे आगे रहना चाहता है।
डीआरडीओ क्वांटम टेक्नोलॉजीज (डीवाईएसएल - क्यूटी), यंग साइंटिस्ट लेबोरेटरी, पुणे की स्थापना भारत में विभिन्न अनुप्रयोगों के लिए क्वांटम कंप्यूटिंग, क्वांटम कम्युनिकेशन और क्वांटम सेंसिंग प्रौद्योगिकियों के कारण को आगे बढ़ाने के लिए की गई है। हम क्वांटम प्रौद्योगिकियों और संबद्ध प्रौद्योगिकी सीमाओं के वर्तमान और आगामी डोमेन में देश को अग्रदूत बनाने का इरादा रखते हैं।
इस प्रयोगशाला के युवा वैज्ञानिक वर्तमान में क्वांटम कंप्यूटिंग सिस्टम, क्वांटम रैंडम नंबर जेनरेटर, क्वांटम कम्युनिकेशन सिस्टम और क्वांटम सेंसिंग तकनीकों की खोज में व्यापक शोध और विकास कर रहे हैं।